Decision Making Skills क्या होती है इसमें कैसे सुधार करें?

Decision Making Skills कई ऐसे काम होते है जिनको करने से पहले हमे Decision लेना होता है अच्छा Decision लेने का तरीका जानकर आप अपना समय बचा सकते है और कार्यों में सुधार कर सकते है और कर्मचारियों के साथ अच्छे संबंध स्थापित कर सकतें हैं। 

आपका Decision किसी भी कार्य और रिश्ते के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण है यह आपकी कंपनी में या व्यवसाय में प्रबंधकीय डिसीजन लेना या आपकी पर्सनल लाइफ के Decision लेना हो सकता है आज के इस लेख में हम आपको Decision Making Skills क्या है? Decision Making के प्रकार? और Decision Making में सुधार कैसे करें? के बारे में पूरी जानकारी देंगे।

What is Decision Making Skills in Hindi?

Decision Making Skills यानी कि निर्णय लेने का कौशल जो की आपके पास होना बहुत ही जरूरी है यदि निर्णय लेने का कौशल आपके पास है तो आप सही निर्णय पर पहुंच सकतें है Decision Making Skills का उपयोग आप किसी उद्देश्य को प्राप्त करने या किसी लक्ष्य को प्राप्त करने में निर्णय लेने के लिए कर सकते है। 

निर्णय लेने का कौशल आपको विभिन्न निर्णयों में से आपके लिए सही निर्णय कौन सा है उसका चुनाव करने में आपकी मदद करता है। अच्छे निर्णय लेने की क्षमता कंपनी के लक्ष्यों को प्राप्त करने में मदद करती है। 

निर्णय लेना क्या है? What is Decision Making?

Decision Making में कई तरीके और कई तरह की चीजों को शामिल किया जाता है जिसमें आपको अपने विचारो को बताने के लिए पहले कई योजनाओं पर कार्य करके फिर किसी निर्णय पर आया जाता है किसी भी निर्णय को लेने से पहले आपका कब, कहां, क्यों, कैसे, आदि जानना जरूरी होता है।

इसके बाद किसी काम को करने के लिए अंतिम निर्णय लिया जाता है आपको निर्णय कई कार्यों में लेने पड़ते हैं ठीक उसी तरह जैसे प्रबंधन के अन्य कार्य जैसे समस्या समाधान और टीम के लिए निर्णय लेना आदि। जिसमें आप दो पक्षों के बीच निर्णय के चुनाव का कार्य करते हैं।

निर्णय लेने के लिए हमेशा दो या दो से अधिक विकल्प शामिल होते है यह कभी भी एक विकल्प के साथ नही लिया जा सकता इसके लिए कम से कम दो पक्षों का होना जरूरी है। आप खुद सोचिए अगर एक ही विकल्प होगा तो निर्णय कैसे लिया जा सकता है।

निर्णय लेना वो क्षमता होती है जो समस्या के समाधान तक पहुंचाती है। इस में कोई भी समस्या हो सकती है या किसी नए काम को करने के लिए लिया गया निर्णय भी हो सकता है।

निर्णय को एक अंत के रूप में भी देखा जाता है एक प्रबंधक को फ्यूचर में क्या करना है, कैसे करना है, और कब करना है, क्या परिणाम होंगे ये सभी Decision Making से ही संभव है।

निर्णय लेने की प्रक्रिया क्या है?

निर्णय लेने की प्रक्रिया को जितना सरल समझा जाता है उतना है नहीं। किसी भी निर्णय तक पहुंचने के लिए इसकी प्रक्रिया को देखना होता है। जब लंबे और जटिल निर्णय लेने की बात आती है तब प्रक्रिया को विभाजित करके निर्णय लिया जा सकता है।

अलग अलग क्षेत्र के विद्वानों ने अलग अलग प्रक्रिया के बारे में बताया है हम यहां पर आपको मुख्य तीन प्रक्रिया के बारे में जानकारी देंगे जो आपको आसानी से निर्णय लेने में मदद करेंगे :-

समस्या का विश्लेषण :

  • आपको किसी समस्या का पता चलता है और आपको निर्णय लेना है तो समस्या का विश्लेषण करना जरूरी है विश्लेषण करने के बाद ही किसी निर्णय पर पहुंचा जा सकता है।
  • छोटी समस्या का विश्लेषण आसानी से किया जाता है लेकिन समस्या बड़ी है तो उसका पूरी तरह सही से विश्लेषण करने के बाद ही कोई निर्णय लेना चाहिए।

समस्या की व्याख्या करना :

  • किसी भी Decision को लेने से पहले समस्या की व्याख्या करना जरूरी होता है ये भी उतना ही महत्वपूर्ण है जितना कि विश्लेषण करना। इसमें ये जानने का प्रयास किया जाता है की लक्ष्यों तक पहुंचने के लिए मार्ग में कौन कौन सी समस्याएं आ सकती हैं।
  • निर्णय लेने से पहले समस्या की पहचान होना जरूरी है पहचान करने के बाद ही हम निर्णय लेने की प्रक्रिया की ओर बढ़ते हैं।

लक्ष्य निर्धारित करना :

  • लक्ष्य निर्धारित करना भी निर्णय प्रक्रिया का ही एक हिस्सा होता है निर्माण प्रक्रिया के प्रथम चरण में आपको लक्ष्य निर्धारित करना होता है जिसके बाद निर्णय प्रक्रिया में आगे बढ़ा जाता है।
  • लक्ष्य निर्धारित करने से पहले आप ये देखे की आप जो लक्ष्य निर्धारित कर रहें है वो काम कर रहे कर्मचारियों के हित में है या नही और उन लक्ष्यों को प्राप्त करना ठीक होगा या नहीं।

निर्णय लेने के चरण

निर्णयों का क्रियान्वयन

  • जब कोई निर्णय लिया जाता है तब निर्णयों का क्रियान्वयन ही निर्णय लेने के चरण का पहलू होता है इसीलिए निर्णयों का क्रियान्वयन करना आवश्यक है। जिस से समस्या का समाधान हो सके इसके जरिए आप काम करने वाले कर्मचारियों के काम पर नियंत्रण रख सकते हैं।

वैकल्पिक समाधान :

  • समस्या को जानने के बाद आप किसी भी समस्या के लिए वैकल्पिक समाधान का इस्तेमाल कर सकते है जिसके जरिए आप समस्या का सही निर्णय ले सकते है इसमें सूचना और तथ्य के आधार पर ही विकल्प दिए जाते है।
  • सभी विकल्प को देखने के पश्चात ये देखना होता है की कौन सा वैकल्पिक समाधान सबसे अच्छा होगा जो समस्या का समाधान कर सके।

निर्णय की प्रतिपुष्टि :

  • यह निर्णय लेने का अंतिम चरण होता है इसमें आपको अपने उस अंतिम निर्णय की प्रतिपुष्टि करनी होती है जिसे आप लेने वाले है। आपको ये देखना होता है की जो आप निर्णय लेने वाले है वो सही है या नही। आपका निर्णय लेने का अंतिम पक्ष ही आपके निर्णय लेने का अंतिम चरण है।

Decision Making Skills क्या होती है

यह लेख भी पढ़े : Customer Service Skills क्या होती है इसे कैसे इंप्रूव करें?

निष्कर्ष 

आज हमने आपको Decision Making Skills (निर्णय लेने का कौशल), प्रबंधन में निर्णय लेना, निर्णय लेने की प्रक्रिया, निर्णय लेने के चरण और Decision Making Skills को कैसे इंप्रूव करें के बारे में जानकारी दी।

किसी भी निर्णय पर पहुंचने से पहले आपको समस्या का आकलन करना बहुत जरूरी है उसी के आधार पर किसी निर्णय पर पहुंचना संभव है। 

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